xiaomi phones earthquake monitor feature: पहली बार स्मार्टफोन में अनोखा फीचर! Xiaomi के फोन्स से मिलेगी भूकंप की जानकारी, आ रहा नया फीचर – xiaomi phones to get earquake monitoring feature sports sensors and ai algorithms

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हाइलाइट्स:

  • शाओमी के फोन्स में भूकंप मॉनिटर फीचर मिलेगा
  • इस फीचर के लिए हैंडसेट में सेंसर और AI का इस्तेमाल होगा
  • मोबाइल फोन का सेंसर वाइब्रेशन डिटेक्ट कर भूकंप का पता लगाएगा

नई दिल्ली
Xiaomi ने सबसे पहले 2010 में अपने फोन्स और स्मार्ट टीवी के लिए अपने कस्टम MIUI ROM पर एक भूकंप अलर्ट फीचर इंटिग्रेट किया था। इस फीचर को Chengdu हाई-टेक डिजास्टर मिटिगेशन इंस्टीट्यूट के साथ साझेदारी कर लाया गया था। टेक दिग्गज ने हाल ही में डेटा रिलीज कर बताया कि इस फीचर के 2019 में रिलीज होने के बाद से कुल 35 भूकंप के बारे में चेतावनी मिली। इन भूकंप की तीव्रता 4.0 मैग्नीट्यूड थी। वहीं कुल 12.64 मिलियन से ज्यादा वार्निंग मेसेज भेजे गए।

एक बार फिर खबरें हैं कि शाओमी एक और डिजास्टर अर्ली वार्निंग सिस्टम लॉन्च कर सकती है। शाओमी ने एक फीचर टीज किया है जिससे मोबाइल में ना केवल भूकंप की चेतावनी से जुड़ी जानकारी मिलेगी बल्कि यह भूकंप को मॉनिटर भी कर पाएगा। इस फीचर के लिए स्मार्टफोन्स में कुछ सेंसर इंटिग्रेट किए जाएंगे जो पृथ्वी पर भूकंपसंबंधी ऐक्टिविटीज को रियल-टाइम में मॉनिटर करेंगे।

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नए फीचर को आने वाले समय में सभी शाओमी फोन्स में दिया जाएगा। हालांकि, MIUI 12.5 वर्जन पर चल रहे मी फोन यूजर्स Mobile Phone Manager-Earthquake Early Warning में जाकर भूकंप मॉनिटरिंग वॉलिंटियर बनने के लिए अप्लाई कर सकते हैं।

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चीनी टेक दिग्गज ने स्पष्ट किया कि मोबाइल फोन का सेंसर जब वाइब्रेशन डिटेक्ट करता है तो यह ऐज कम्प्यूटिंग के जरिए भूकंप से जुड़ी जानकारी का सही पता कर लेगा। अगर भूकंप होगा तो यह अर्ली वार्निंग सेंटर को जानकारी भेजेगा। इसके बाद सेंटर मल्टीपल मोबाइल फोन्स से मिली जानकारी का इस्तेमाल करेगा। और अर्थक्वेक डेटा AI को कैलकुलेट कर यह पता कर लेगा कि वाकई भूकंप आया या नहीं।

अगर भूकंप का पता लगता है तो भूकंप की तीव्रता, एपिसेंटर लोकेशन और समय फटाफट कैलकुलेट हो जाएगा। इसके बाद उस एरिया के आसपास मौजूद प्रभावित लोगों को वार्निंग मेसेज चला जाएगा। यानी अगर हर शाओमी मोबाइल फोन भूकंप मॉनिटर डिवाइस बन जाएगा तो भूकंप को मॉनिटर्स की संख्या भी बढ़ जाएगी। यानी जिन जगहों पर ट्रडिशनल अर्थक्वेक मॉनिटर्स नहीं हैं उन्हें पहले से चेतावनी मिल पाएगी। और नैशनल अर्थक्वेक मॉनिटरिंग और अर्ली वार्निंग नेटवर्क में ज्यादा जगहें कवर हो सकेंगी। चीनी कंपनी ने संकेत दिए हैं कि इस पूरी प्रक्रिया में यूजर्स की प्रिवेसी का ध्यान रखा जाएगा और सारे यूजर डेटा व प्रिवेसी के लिए यूजर की जानकारी का खुलासा नहीं होगा।

उम्मीद है कि शाओमी के स्मार्टफोन्स में मिलने वाला यह फीचर चीन के बाहर दूसरे मार्केट्स के लिए उपलब्ध नहीं होगा। Gizmochina की एक रिपोर्ट में यह जानकारी दी गई।

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